27वां वैश्विक ओजोन दिवस (World Ozone Day 2021) – करेंट अफेयर्स


27वां वैश्विक ओजोन दिवस (World Ozone Day 2021) – करेंट अफेयर्स

world ozone day 16 September

चर्चा में क्यों?

  • पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन राज्य मंत्री श्री अश्विनी कुमार चौबे ने आज कहा कि भारत ने कई प्रमुख ओजोन क्षयकारी पदार्थों (ओडीएस) के उत्पादन और खपत को सफलतापूर्वक समाप्त कर दिया है और अब तक मॉन्ट्रियल प्रोटोकॉल(Montreal Protocol) के वित्तीय तंत्र से तकनीकी और वित्तीय सहायता द्वारा मॉन्ट्रियल प्रोटोकॉल के सभी दायित्वों को पूरा किया है।
  • मंत्री आज नई दिल्ली में 27वें वैश्विक ओजोन दिवस(World Ozone Day) के अवसर पर आयोजित एक कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे थे।
  • श्री चौबे ने कहा, ओजोन क्षयकारी पदार्थों को चरणबद्ध तरीके से समाप्त करने में भारत की सफलता का एक कारण योजना और कार्यान्वयन दोनों स्तरों पर प्रमुख हितधारकों की भागीदारी है।
  • उन्होंने कहा, उद्योग, अनुसंधान संस्थान, संबंधित मंत्रालय, उपभोक्ता आदि भारत में मॉन्ट्रियल प्रोटोकॉल के ओजोन क्षयकारी पदार्थ चरणबद्ध कार्यक्रम में महत्वपूर्ण योगदान दे रहे हैं।

मुख्य बिंदु

  • विश्व ओजोन दिवस(World Ozone Day) हर साल 16 सितंबर को मॉन्ट्रियल प्रोटोकॉल(Montreal Protocol) पर हस्ताक्षर करने के लिए मनाया जाता है,
  • मॉन्ट्रियल प्रोटोकॉल(Montreal Protocol) ओजोन क्षयकारी पदार्थों के उत्पादन और खपत को चरणबद्ध तरीके से समाप्त करने के लिए एक अंतरराष्ट्रीय पर्यावरण संधि है, जो 16 सितंबर 1987 में लागू हुई थी।
  • यह दिवस हर साल ओजोन परत के ह्रास के बारे में लोगों के बीच जागरूकता फैलाने और इसे संरक्षित करने के लिए किए गए उपायों/उपायों के लिए मनाया जाता है।
  • पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय (MoEF&CC), भारत सरकार के अंतर्गत ओजोन सेल, राष्ट्रीय और राज्य स्तर पर 1995 से विश्व ओजोन दिवस मना रही है।
  • विश्व ओजोन दिवस 2021 का विषय “मॉन्ट्रियल प्रोटोकॉल – हमें, हमारे भोजन और टीकों को ठंडा रखना’ ” है
  • इस अवसर पर भवनों में विषयगत एरिया स्पेस कूलिंग के लिए इंडिया कूलिंग एक्शन प्लान (ICAP) की सिफारिशों को लागू करने के लिए कार्य योजना भी जारी की गयी ।
  • इंडिया कूलिंग एक्शन प्लान (आईसीएपी), सभी क्षेत्रों में शीतलन आवश्यकता को संबोधित करती है और उन कार्यों को सूचीबद्ध करती है जो पर्यावरण और सामाजिक दोनों को सुरक्षित करने के लिए कार्यों में तालमेल के माध्यम से शीतलन मांग को कम करने में मदद कर सकते हैं।
  • आईसीएपी का उद्देश्य प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष दोनों तरह के उत्सर्जन को कम करना है।

भारत और मॉन्ट्रियल प्रोटोकॉल(India and Montreal Protocol)

  • भारत, जून 1992 से मॉन्ट्रियल प्रोटोकॉल के पक्षकार के रूप में, मॉन्ट्रियल प्रोटोकॉल और इसमें वर्णित ओजोन क्षयकारी पदार्थों को प्रोटोकॉल की चरणबद्ध अनुसूची के अनुरूप परियोजनाओं और गतिविधियों के माध्यम से सफलतापूर्वक कार्यान्वित कर रहा है।
  • भारत ने क्लोरोफ्लोरोकार्बन, कार्बन टेट्राक्लोराइड, हैलोन्स को चरणबद्ध तरीके से समाप्त कर दिया है।
  • वर्तमान में मॉन्ट्रियल प्रोटोकॉल के त्वरित कार्यक्रम के अनुसार हाइड्रोक्लोरोफ्लोरोकार्बन को चरणबद्ध तरीके से समाप्त किया जा रहा है।
  • हाइड्रोक्लोरोफ्लोरोकार्बन फेज आउट मैनेजमेंट प्लान (HPMP) स्टेज- I को 2012 से 2016 तक सफलतापूर्वक लागू किया गया है और हाइड्रोक्लोरोफ्लोरोकार्बन फेज आउट मैनेजमेंट प्लान (HPMP) स्टेज- II वर्तमान में 2017 से लागू किया जा रहा है और 2023 तक पूरा हो जाएगा।
  • 2016 के दौरान पार्टियों द्वारा अंतिम रूप दिए गए मॉन्ट्रियल प्रोटोकॉल में किगाली संशोधन गैर-ओजोन क्षयकारी विकल्प के रूप में पेश किए गए हाइड्रोफ्लोरोकार्बन (एचएफसी) की खपत और उत्पादन को धीरे-धीरे कम करेगा, जिसमें 12 से लेकर 14000 तक उच्च ग्लोबल वार्मिंग क्षमता है।
  • भारत सरकार ने हाल ही में मॉन्ट्रियल प्रोटोकॉल में किगाली संशोधन की पुष्टि करने का निर्णय लिया है, जो एक बार फिर वैश्विक समुदाय के सामने, जलवायु और पर्यावरण की सुरक्षा के प्रति भारत की प्रतिबद्धता को प्रदर्शित करता है।

मॉन्ट्रियल प्रोटोकॉल में किगाली संशोधन (Kigali Amendment to the Montreal Protocol)

  • यह एक अंतर्राष्ट्रीय समझौता है जो हाइड्रोफ्लोरोकार्बन (HFCs) की खपत और उत्पादन को धीरे-धीरे कम करने का प्रयास करता है।
  • यह एक कानूनी रूप से बाध्यकारी समझौता है जिसे अंतर्राष्ट्रीय कानून में अधिकारों और दायित्वों को बनाने के लिए डिज़ाइन किया गया है।

पृष्ठभूमि

  • मॉन्ट्रियल प्रोटोकॉल(Montreal Protocol) मूल रूप से ओजोन परत को संरक्षित और पुनर्स्थापित करने के लिए बनाया गया था।
  • यह प्रोटोकॉल भाग लेने वाले देशों के बीच ओजोन क्षयकारी गैसों को दूर करने के लिए एक समझौता था। HFC शक्तिशाली ग्रीनहाउस गैसें(Green House Gases) हैं जो जलवायु परिवर्तन में योगदान देती हैं।
  • इस प्रकार, किगाली संशोधन ने HFC को उन रसायनों की सूची में जोड़ा जिन्हें देशों को चरणबद्ध तरीके से समाप्त करना आवश्यक है।

किन देशों ने इस संशोधन की पुष्टि की है?

  • 121 देशों और यूरोपीय संघ ने जुलाई 2021 तक किगाली संशोधन की पुष्टि की है। भारत सूची में नया प्रवेशकर्ता है। अमेरिका ने संशोधन की पुष्टि नहीं की है।

प्रारंभिक परीक्षा के लिए आज का प्रश्न


प्रश्न 1. मॉन्ट्रियल प्रोटोकॉल क्या है और किस से सम्बंधित है?(What is the Montreal Protocol and what is it related to?)

प्रश्न 2. ग्रीनहाउस गैंसो के नाम बताओ ?(Name the greenhouse gases?)

अपने उत्तर कमेंट बॉक्स मैं दें।

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